mayawati: मुलायम के बाद अखिलेश की भी होगी बुरी गति, SP को हराने के लिए BJP को भी करेंगे सपोर्ट: मायावती – bsp mayawati slams sp akhilesh yadav mulayam singh yadav after rajyasabha election crisis

हाइलाइट्स:

  • बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने समाजवादी पार्टी पर साधा निशाना
  • माया ने कहा- अखिलेश की भी मुलायम की तरह होगी बुरी गति
  • ‘SP संग गठबंधन और गेस्ट हाउस कांड को वापस लेना बड़ी भूल’
  • सपा को हराने के लिए किसी को भी सपॉर्ट, 7 विधायक निलंबित

लखनऊ
उत्तर प्रदेश की सियासत नया मोड़ लेती दिख रही है। राज्यसभा चुनाव (UP Rajyasabha Election) में हुई उठापटक और सियासी दांवपेंच के बाद बहुजन समाज पार्टी (BSP) सुप्रीमो मायावती (Mayawati) ने समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) पर हल्ला बोला है। मायावती ने कहा कि मुलायम सिंह यादव के बाद अखिलेश की भी बुरी गति होगी। उन्होंने समाजवादी पार्टी को हराने के लिए किसी भी पार्टी को सपोर्ट करने की बात कही। मायावती ने एसपी के संपर्क में आए 7 विधायकों को निलंबित कर दिया है। मायावती ने कहा है कि इन विधायकों की सदस्यता समाप्त करने की कार्रवाई की जाएगी यदि वे एसपी में शामिल होते हैं।

मायावती ने कहा, ‘लोकसभा चुनाव के दौरान सांप्रदायिक ताकतों से मुकाबला करने के लिए हमारी पार्टी ने समाजवादी पार्टी के साथ हाथ मिलाया था। लेकिन उनके परिवार में चल रही आंतरिक कलह की वजह से उन्हें बीएसपी के साथ गठबंधन का अधिक फायदा नहीं मिल सका। चुनाव के बाद उनकी तरफ से प्रतिक्रिया मिलनी बंद हो गई, जिस वजह से हमने रास्ते अलग करने का फैसला लिया।’

‘चुनाव की बजाय केस को वापस कराने में लगे थे एसपी मुखिया’
BSP सुप्रीमो ने कहा, ‘मैं यह खुलासा करना चाहती हूं कि जब हमने लोकसभा चुनाव साथ लड़ने का फैसला किया था, तब पहले दिन से ही हमने कड़ी मेहनत की। लेकिन समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष पहले दिन से ही सतीश चंद्र मिश्रा से कहते रहे कि अब जबकि एसपी-बीएसपी ने हाथ मिला लिया है, तो मुझे जून 1995 के केस को वापस ले लेना चाहिए।’ उन्होंने कहा कि चुनाव प्रचार की बजाय एसपी मुखिया मुकदमा वापसी कराने में लगे थे। 2003 में मुलायम ने बएसपी तोड़ी उनकी बुरी गति हुई, अब अखिलेश ने यह काम किया है, उनकी बुरी गति होगी।

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‘1995 का गेस्ट हाउस कांड वापस लेना बड़ी भूल’
राज्यसभा चुनाव के दौरान पार्टी के विधायकों में हुई सेंधमारी पर मायावती ने कहा, ‘लोकसभा चुनाव के परिणाम के बाद जब हमने समाजवादी पार्टी के व्यवहार को देखा, तभी समझ में आ गया कि हमने 2 जून 1995 के केस को वापस लेकर बड़ी गलती कर दी है। हमें उनके साथ हाथ नहीं मिलाना चाहिए था और इस संबंध में गहराई से सोचना चाहिए था।’

‘एसपी को हराने के लिए किसी भी पार्टी को समर्थन’
उन्होंने कहा, ‘हमने फैसला कर लिया है कि यूपी में आगामी एमएलसी चुनाव में एसपी के प्रत्याशी को हराने के लिए अपनी पूरी ताकत लगाएंगे। अगर हमें बीजेपी प्रत्याशी या फिर किसी दूसरी पार्टी के कैंडिडेट को वोट देना होगा तो वो भी करेंगे।’ मायावती ने कहा कि 1995 के गेस्ट हाउस कांड का मुकदमा वापस लेना गलती थी।

लोकसभा चुनाव में साथ आई थी SP-BSP

लोकसभा चुनाव में साथ आई थी SP-BSP

इससे पहले बीएसपी के महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा ने कहा कि खरीद फरोख्त समाजवादी पार्टी की पुरानी प्रथा है। विधायकों के खिलाफ ऐक्शन पर पार्टी फैसला करेगी। विधायकों ने किसके दबाव में गलत बयान दिया यह उन्हें ही बताना चाहिए। राज्यसभा की 10 सीटों पर हो रहे चुनाव में बुधवार को दिनभर चली उठा-पटक के बीच एसपी समर्थित निर्दलीय प्रत्याशी प्रकाश बजाज का पर्चा खारिज हो गया। बीएसपी प्रत्याशी रामजी गौतम के प्रस्तावकों में ही सेंधमारी कर उनका पर्चा खारिज करवाने की एसपी की रणनीति पर अंतत: बीएसपी भारी पड़ गई।

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इस बीच बीएसपी के सात विधायक एसपी के संपर्क में हैं। विरोध का बिगुल फूंक चुके एक विधायक के मुताबिक सात विधायकों के अलावा कुछ और विधायक भी एसपी के संपर्क में हैं। इसमें से पांच विधायकों ने तो प्रस्तावक के तौर पर अपने साइन होने से ही इनकार कर दिया। हालांकि बाद में उनका दावा गलत पाया गया।

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